मां बेटे को घर में कैद कर फरार हुआ पिता
कानपुर: (सूरज कश्यप/गुड्डू सिंह) 02 फरवरी 2020. थाना काकादेव क्षेत्र में आज एक व्यक्ति अपनी पत्नी और 8 माह के बेटे को अपने ही घर में कैद करके वहां से भाग गया।
जानकारी के अनुसार काकादेव के रहने वाले हिमांशु द्विवेदी व उनकी पत्नी गरिमा दिवेदी का काफी समय से आपसी अनबन चल रही थी और इसको लेकर दोनों के रिश्ते में काफी खटास आ गई । जिसके बाद से हिमांशु व उसके माता-पिता व भाई समेत पत्नी गरिमा को घर में अकेला छोड़ खुद कहीं और रहने लगा।पर पीड़ित का आरोप है कि उसके पति और सास ससुर घर में उसे अकेला छोड़ कर गए तब वो एक माह की प्रेग्नेंट थी पर हिमांशु और उनके परिजनों को ना तो उसकी कोई चिंता हुई और ना ही उसके बच्चे की।
पीड़िता का कहना है कि पति के घर छोड़ने के बाद से मेरी व मेरे बच्चे की पूरी देखभाल मेरी मौसी व मौसा के द्वारा की गई ।
काकादेव थाना क्षेत्र के गीता नगर का रहने वाला हिमांशु द्विवेदी LIC में डेवलपमेंट अफसर की पोस्ट पर है। उसकी पहली पत्नी ने किन्हीं कारणों वश हिमांशु को छोड़ दिया था तब हिमांशु द्विवेदी ने दूसरी शादी गरिमा से की और कुछ समय तो दोनों के बीच का रिश्ता ठीक रहा पर कुछ समय बाद से गरिमा के पति व उसके ससुराली जनों के द्वारा गरिमा के साथ दुर्व्यवहार किया जाना शुरू हुआ। तब गरिमा ने सारी बात अपने परिजनों को बताई और ससुराली जनों के खिलाफ गंभीर धाराओं में मुकदमा लिखवा दिया जिससे बौखला कर हिमांशु व उसके परिजनों ने गरिमा को और परेशान करना शुरू कर दिया और कुछ समय बाद गरिमा के ससुर ने कानपुर के उप जिला मजिस्ट्रेट के पास घरेलू हिंसा व मकान में कब्जा करने जैसी बात बोल कर एक मुकदमा डाला, पर कानूनी जांच पड़ताल के बाद उनका मुकदमा खारिज कर दिया गया और गरिमा को उसी घर में रहने का अधिकार दिया गया। आपको बता दें कि गरिमा के पक्ष में यह फैसला इसलिए आया क्योंकि गरिमा का आठ माह का बेटा है जिसे लेकर वह कहीं इधर-उधर नहीं घूम सकती इसके बाद भी गरिमा के ससुराली जनों के द्वारा कई प्रयत्न किए गए पर उनको निराशा ही मिली और आखिर इन सबके बाद हिमांशु वह उसका पूरा परिवार गरिमा को अकेला छोड़कर कहीं और रहने लगा। अचानक सोमवार को हिमांशु द्विवेदी अपने पिता व भाई के साथ दोपहर घर आया और गेट पर गाली गलौज कर गेट खोलने को बोला जब गरिमा ने गेट नहीं खोला तो गरिमा के पति ने गरिमा व उसके 8 माह के बेटे अर्जुन को गेट के अंदर ही ताले में बंद कर दिया और खुद वहां से कहीं भाग निकले जिसके बाद गरिमा ने घटना की सूचना अपने परिजनों को दी और पुलिस बुलाई तो पुलिस की मौजूदगी में गेट खुलवाया गया और गरिमा को बाहर निकाला ।
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